अभी हम इस सदमे से उभर रहे थे कि न्यूज चैनलों में एक नए वायरस का नाम हेडलाइन बनकर सामने आने लगा एचएमपीवी वायरस ह्यूमन मेटा न्यूमो वायरस और हम सभी लोग इस वायरस के लिए तैयार नहीं है हमारे मन में लाखो सवाल उमड़ रहे है एचएमपीवी भी कोविड 19 की तरह एक बड़ा वायरस बनने वाला है ? क्या हम फिर से एक बार वही दर्दनाक समय देखने वाले हैं ? और सबसे बड़ा सवाल क्या फिर से हम लॉकडाउन और लॉकडाउन के समय की समस्या झेलेगे ? उस जिंदगी का दौर मानो रुक सा गया था आज भी जब सब कुछ याद किया जाता है

तो दिल और दिमाग दोनों ही सुन हो जाता है कोविड 19 की वजह दुनिया में 68 लाख लोगो से भी ज्यादा लोगो ने अपनी जान गवाई थी अब हमारे देश को भी यह समस्या झेलनी पड़ेगी आज का यह सिर्फ पोस्ट नही बल्की यह एक जरुरुत है इस पोस्ट में हम समझेंगे कि आखिर ये वायरस है क्या? इसकी पूरी असली तसवीर को हम समझेंगे ? मेरी आप सभी से एक अनुरोध है एक जागरूक नागरिक होने के नाते इस पोस्ट को आखिरी तक पढ़ें और इसे शेयर भी करे क्योंकि यह समय एक जरुरुत है कि हम अपनी समस्या के बारे में जानें और लोगो को जागरू करे ;
एचएमपीवी ये वायरस आख़िरकार है क्या?
एचएमपीवी यानि कि ह्यूमन मेटा न्यूमो वायरस यह एक रेस्पिरेटरी वायरस है जो सीधे तौर पर हमारे सवासनली पर असर करता है इसे आप ऐसे समझ सकते हैं कि यह श्वसन तंत्र फेफड़े और सास लेने वाले सारे अंग के ऊपर प्रत्यक्ष प्रभाव करता है यह वायरस पेरा मिक्सो वेरी डाई फैमिली का हिस्सा है और इस वायरस का असर होने से सामान्य सर्दी से लेकर निमोनिया तक हो सकता है सरप्राइज कर देने वाली बात यह है कि यह वायरस कोई नया वायरस नहीं है इसे डिस्कवर 2001 में ही कर लिया गया था लेकिन आज के टाइम में यह वायरस बहुत हाई स्पीड से फेल हो रहा है और इसी कारण से यह वायरस समाचार में शीर्षक है|

एचएमपीवी वायरस के लक्षण क्या क्या है ?
एचएमपीवी के अगर लक्षण के बात करे तो आम तौर पर कफ और सर्दी की तरह ही दिखते हैं सिविओर के मामले, जीवन के लिए खतरा हो सकता है, ऐसे लक्षण हमें देखने को मिलते हैं कि बंद नाक और गले में खराश , साथ ही थकान और हल्का बुखार सिविओर मामले मुख्य एचएमपीवी के वायरस के लक्षण ब्रोंकियोलाइटिस जैसे बिमारी के लक्षण देखने को मिलते है कि सास की छोटी नाली ब्लॉक हो जाती है या निमोनिया, फेफड़े में संक्रमण हो जाता है या फिर सास लेने में दिक्कत और परेशानी होती है /
एचएमपीवी वायरस फेलता कैसे है ?
अब अगर बात करें कि एचएमपीवी वायरस फेलता कैसे है ? दूसरे श्वसन वायरस की तरह यह भी फेलता होता है जब एक एचएमपीवी संक्रमित व्यक्ति छींकता है या खास्ता है तो हमें दौरान वायरस की बूंदें हवा में फैल जाती हैं ये बूंदें जब सतह पर फैलती हैं और उसी सतह पर एक स्वस्थ लोग स्पर्श करते हैं
और वही हाथ जब लोग अपने नाक या मुँह पर लगते हैं तो वो स्वस्थ लोग भी संक्रमित हो जाते हैं और संक्रमित व्यक्ति के करीब जाने से भी फेलता है ज्यादा मामलों में ये वायरस बच्चे और बूढ़े लोगों पर असर करता है या जिनकी इम्युनिटी कमजोर होती है या जो किसी बीमारी से ठीक हो रहे होजैसे कैंसर के मरीज या फिर डायबिटीज के मरीज /

श्वसन वायरस का मौसम
एचएमपीवी वायरस का और सर्दियों का एक हार्ड कॉम्बिनेशन बनता है W.H.O. के हिसाब से ठंड के मौसम में रहने वाले लोगों को ज्यादा सतर्क रहना पड़ेगा जैसे कि आपने पहले भी देखा था कि सर्दियों में कोविड का विकराल रूप दिखता है क्योंकि इस समय में जैसे जैसे सर्दियां बढ़ रही थी
ये अपना विकराल रूप दिखा रहा था इसके पीछे एक सिंपल कारण है ये वायरस ठंडा और शुष्क वातावरण में अपने आप को लंबी अवधि के लिए जीवित रख सकता है राष्ट्रीय श्वसन और आंत्र वायरस निगरानी प्रणाली के अनुसार एचएमपीवी वायरस सर्दियों के मौसम के समय सबसे ज्यादा सक्रिय रहता है इसलिए इस मौसम को श्वसन वायरस का मौसम भी कहा जाता है /
क्या एचएमपीवी भी कोविड की तरह है ?
अब बात करते हैं चीन ने इस बार ऐसा क्या नया कर दिया चीन में एचएमपीवी का वायरस वहा तेजी से फेल रहा है रिपोर्ट्स के अनुसार पता चला है कि वहा पर श्वसन संक्रमण के करण अस्पताल भरे पड़े हैं लेकिन अच्छी बात यह है कि विशेषज्ञों का कहना है कि यह कोविड जितना डरावना नहीं है यह बहुत तेजी से फेल रहा है मृत्यु दर पर काफी कम है कोविड 19 के वक्त हमारी बॉडी काफी वंडरेबल थी

उस टाइम हममें से किसी की भी इम्यूनिटी कोविड 19 जैसे वायरस से लड़ने के लिए तैयार नहीं थी लेकिन अब अधिकतार लोगों के शरीर में इम्यूनिटी डेवलप हो गई है क्योंकि हमने देखा था कि हर दिन मृत्यु दर बढ़ रहे थे लेकिन एचएमपीवी के केस अभी तक ऐसा कोई भी पैटर्न देखने को नहीं मिला है एचएमपीवी का प्रभाव उन लोगो पर ज्यादा है जो ऑलरेडी किसी ना किसी स्वास्थ्य संकट से गुजर रहे हैं /
भारत में एचएमपीवी वायरस के मामले
इंडिया में अभी तक लगभग 8-10 केस एचएमपीवी वायरस के निकल चुके हैं इन 8 में से भी पहला और दूसरा केस बंगलौर के एक हॉस्पिटल से आया था जहां पर एक 3 महीने का बच्चे और 6 महीने का बच्चा इंपेक्ट हुआ था इसके बाद थर्ड केस गुजरात के अहमदाबाद में रिपोर्ट किया गया और इस केस में भी इंफेक्टेड पर्सन 2 महीने का छोटा बच्चा था इन 8 केसेस मे से कोई भी इंटरनेशन ट्रैवल के हिस्ट्री नहीं हैं

फिलहाल इंडिया में कोई सीवियर आउट ब्रेक भी नहीं हुआ है इन सारी चीज के बावजूद भी इंडियन गवर्मेंट ने प्रिकॉशन और सर्विलेंस प्रबंधकों को टाइट कर दिया है हेल्थ मिनिस्टर ने क्लियर कर दिया है की यह एक पुराना वायरस है और इसके लिए अभी अवेयरनेस और हाइजीन ही बस सोल्यूशन है हॉस्पिटल एंड डॉक्टर्स के लिए भी गाइड लाइन जारी कर दी गई है साथ ही साथ एचएमपीवी से घबराने की उतनी जरूरत नहीं है
क्योंकि इस केस में को कोविड 19 जितनी सीरियसनेस देखने को नहीं मिली है अगर विशेषज्ञों की माने तो उनका कहना है कि एचएमएपवी एक ग्लोबल पेंडम नहीं बनेगा लेकिन ये एक सीजन फ्लू के रूप में कन्वर्ट हो सकता है ओर जो थोड़े वीक है उनपर इनका इंपेक्ट हो सकता है तो उन्हें अपनी सेहत का विशेष रुप से ध्यान रखना होगा /
एचएमपीवी से बचाव
अब बात आती है ट्रीटमेंट तो इसके ऊपर रिसर्च चल रही है वैक्सीन और एंटीवायरस बनाने के लिए प्रैक्टिस किया जा रहा है पर अभी के लिए ऑफिशल कोई भी अप्रूवल मेडिकल अवेलेबल नहीं है इसका मतलब हमें खुद प्रिकॉशन लेना होगा डॉक्टर हमें बस सिस्टम को क्योर करने में मदद कर सकते हैं तो एक जागरुक नागरिक होने के तहत हम क्या-क्या प्रिकॉशन ले सकते हैं
पहला जब आप किसी बड़े जगह में जा रहे हैं या किसी ऐसी जगह जा रहे हैं जहां पर क्लोज कॉन्टैक्ट हो रहा है लोग लोग आपस में चिपक रहे हैं और छींक रहे हैं तो अपनी मुंह को कवर कर लीजिए
दूसरा हाइजीन आपको रेगुलर बेसिस पर अपने हाथ धोते रहना है हाथ को अच्छी तरह से धोया करें जब आप खाना खा रहे हैं या फिर बाहर से आ रहे हैं तो हाथ धोना जरुरी है
तीसरा अवॉइड क्राउडेड प्लेसिस बहुत ज्यादा भीड़ भाड़ वाले जगह में जाने से बचें ऐसे वीर भीड़ वाले जगह इन वायरस के लिए बहुत अच्छे ग्राउंड्स बनते हैं क्योंकि यहां पर लोग एक दूसरे से कोंटेक्ट में आते हैं और संक्रमित लोग और ज्यादा लोगों को संक्रमित कर सकते हैं

चौथा मेंटेन हेल्दी लाइफ स्टाइल आपका शरीर आधे से ज्यादा समस्याओं से खुद निपट सकता है बस आपको अपनी इन इम्यूनिटी अच्छे से मेंटेन करना होगा अच्छा खाना खाए सीजन फूड खाइए वेजिटेबल खाइए आपका शरीर खुद ही कैपेबेबल है छोटे मोटे वायरस से लड़ने के लिए
पांचवा कंसल्ट डॉक्टर इफ नीडेड अगर आपको जो सिंपटम्स हमने पहले बताएं हैं उनमें से कोई भी सिंपटम्स हो रहे हैं या फैमिली फ्रेंड्स को देखने को मिल रहे हैं तो एक डाक्टर से संपर्क कीजिए जितना जल्दी डॉक्टर को दिखाएंगे उतना पहले और अच्छा ट्रीटमेंट शुरू हो जाएगा यह कुछ सिंपल तरिके जो आपको और अपने परिवार को एचएमपीवी के खतरे से बचा सकते हैं हम सावधानी और सतर्कता नहीं बरतेगे तो यह शायद एक बड़े सीजन फ्लू में कन्वर्ट हो सकता है तो हमारे प्रिकॉशन और जागरुकता हमें और हमारे समाज को इस समस्या से बचाए यह कोविड जितना बड़ा नहीं बनेगा लेकिन उसका मतलब यह नहीं कि हम इसे हल्के में ले.