अब आपके मन ये सवाल उठ रहा होगा कि प्रसाद के रूप में चर्बी मिला हुआ लड्डू खा कर सभी सन्त महात्मा और पंडित, और भगतो का धर्म नष्ट हो गया होगा प्रेमानंद महाराज जी क्या बोले जब एक संत ने पूछा प्रसाद में चर्बी मिले लड्डू खा लिए, क्या हमारा धर्म भ्रष्ट हो गया फिर क्या बोले…..

तिरुपति मंदिर में प्रसाद के रूप में चर्बी मिला हुआ लड्डू भगतो को दिया जा रहा था ??
तिरुपति मंदिर में प्रसाद के रूप में चर्बी मिला हुआ लड्डू भगतो को दिया जा रहा था इतने सालों से ये सुन कर ही बहुत बुरा लगता है कि हमारे संतान धर्म को नष्ट करने का साजिश किया जा रहा है तिरुपति मंदिर में लाखों भागतो की संख्या रोजाना रहता है करोड़ों रुपए चढ़ावा आता ! तिरुपति मंदिर में श्रद्धालु आते है अपनी श्रद्धा और पवित्र मन ले कर पर तिरुपति मंदिर के पास प्रसाद के रूप मे लड्डू बेचने वालों ने सभी भागतों के साथ दंडनीय अपराध किया है लोगों के श्रद्धा और पवित्रता के साथ खेलवार कर रहे थे अब आपके मन ये सवाल उठ रहा होगा कि प्रसाद के रूप में चर्बी मिला हुआ लड्डू खा कर सभी सन्त महात्मा और पंडित, और भगतो का धर्म नष्ट हो गया होगा प्रेमानंद महाराज जी क्या बोले जब एक संत ने पूछा प्रसाद में चर्बी मिले लड्डू खा लिए, क्या हमारा धर्म भ्रष्ट हो गया फिर क्या बोले…..

प्रेमानंद महाराज जी क्या बोले जब प्रसाद में चर्बी मिले लड्डू खा लिए, क्या हमारा धर्म भ्रष्ट हो गया ??
एक संत ने प्रेमानंद महाराज जी से कहा कि तो हम लोगों को अपवित्र कर ही दिया महाराज प्रसाद में चर्बी मिले लड्डू खा लिए, क्या हमारा धर्म भ्रष्ट हो गया फिर प्रेमानंद महाराज जी कहते हैं अगर प्रसाद शब्द है तो कोई उपाय करने की जरूरत नहीं उपाय करना प्रसाद का अपमान है और अगर प्रसाद शब्द नहीं हैं लड्डू शब्द है तो आप लड्डू क्यों खाए ठाकुर जी को भोग लग चुका अब हम केवल प्रसाद पा रहे है भोग में क्या मिलाया गया ये ठाकुर जी जाने और पीछे जाने हमे सिर्फ प्रसाद पाया हमको अगर ऐसे कहा जाए चर्बी मिला हुआ लड्डू खाओ नहीं तो गर्दन उड़ावा लेंगे लेकिन लड्डू नहीं खाएंगे लेकिन प्रसाद कोई सामने में आके कहदे इसमें बिस मिला था तो तो भी आनंद रहेगा / आज शोभ नहीं होना चाहिए बहुत जोर की सावधानी रखे नहीं उनकी दुर्गति होगी जो वो वस्तु मिला रहे है जानकारी में सो तो पंच गव्य आदि भागवत चरणामृत आदि बड़े भाव है लेकिन प्रसाद शब्द में हम दूषण शब्द नहीं लागा सकते अगर हमारे इष्ट का प्रसाद ऐसे कर के दिया जा रहा है और हम पा लिए इसके बाद उसमें बताया गया कि अक्ष पदार्थ था तो हमने खाया ही नहीं अक्ष पदार्थ इसने धर्म भ्रष्ट होने के बिल्कुल चांस नहीं ।

तिरुपति बालाजी मंदिर में महा शांति होमम क्यों किया गया ??
तिरुपति बालाजी मंदिर में महा शांति होमम क्यों किया गया ?? तिरुपति बालाजी मंदिर इस समय जानवरों की चर्बी मिलाई हुई लड्डू के कारण चर्चा में है तिरुपति बालाजी मंदिर में रोजाना लाखों के संख्या में श्रद्धालु वेंकटेश्वर भगवान के दर्शन के लिए आते हैं जैसे ही श्रद्धालुओं को इस बात का खबर हुआ की तिरुपति बालाजी महाराज मंदिर में लड्डू में इस प्रकार का पदार्थ मिलाया जा रहा है इस खबर से उनकी भावनाएं आहत हुई है इसलिए तिरुपति बालाजी मंदिर में शुद्धिकरण किया गया शांति होमम किया गया तिरुपति बालाजी महाराज मंदिर में अपवित्रता को दूर करने के लिए मंदिर में महा शांति होमम किया गया जिस से मंदिर में पवित्रता बनी रहे !

यह एक बहुत बड़ी साजिश या धोखा कह सकते हैं जो की हम सनातनियों के साथ हुआ ??
यह एक बहुत बड़ी साजिश या धोखा कह सकते हैं जो की हम सनातनियों के साथ हुआ ?? तिरुपति बालाजी मंदिर में प्रसाद के रूप में जानवरों का चर्बी मिलाया हुआ दिया जा रहा था यह एक बहुत बड़ी घटना या इसे कह सकते हैं कि सनातन धर्म को नष्ट किया जा रहा है यह हमारे सनातनी धर्म को बाहर के लोगों में गलत संदेश भेजा जा रहा है हमारे पवित्रता और संस्कृति को नष्ट किया जा रहा है यह एक बहुत बड़ी साजिश या धोखा कह सकते हैं जो की हम सनातनियों के साथ हुआ हमारे भावनाओं के साथ खेला गया इतनी प्रचलित मंदिर तिरुपति बालाजी मंदिर में इतना बड़ा साजिश कैसे हुआ लोगों का ध्यान इस पर पहले क्यों नहीं गया यह एक बहुत बड़ी गलती है और साजिश है

इतना बड़ा गलती या साजिश ??
इतना बड़ा गलती या साजिश ! प्रसाद में जानवरों की चर्बी मिलाया गया पर फिर भी अभी तक एक भी दंडनीय अपराध करने वाले अपराधी हाथ नहीं लगे हैं क्योंकि उनके पास पैसे हैं इसीलिए उन पर कोई कारवाही नहीं हुआ ना ही कोई पकड़ा गया कि कौन कर रहा था इतना बड़ा गलती हो साजिश ! तिरुपति बालाजी मंदिर में श्रद्धालुओं की भावनाओं को ठेस पहुंची है फिलहाल इस मामले की गंभीरता को देखते हुए ( SIT ) का गठन सरकार ने किया है ताकि इसकी जांच जल्द से जल्द की जा सके और सच्चाई को सामने ला सके ।